भारत और ब्रिटेन के बीच ऐतिहासिक मुक्त व्यापार एवं दोहरा अंशदान समझौता
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ब्रिटेन के प्रधानमंत्री केअर स्टार्मर से टेलीफोन पर हुई बातचीत के बाद ऐतिहासिक समझौतों की घोषणा की। मोदी ने इसे "ऐतिहासिक मील का पत्थर" बताते हुए कहा कि भारत और ब्रिटेन ने एक महत्वाकांक्षी एवं पारस्परिक रूप से लाभकारी मुक्त व्यापार समझौते (एफटीए) और दोहरे अंशदान समझौते को सफलतापूर्वक संपन्न किया है।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा, "ये ऐतिहासिक समझौते हमारी व्यापक रणनीतिक साझेदारी को और गहरा करेंगे और दोनों देशों की अर्थव्यवस्थाओं में व्यापार, निवेश, नवाचार, रोजगार और विकास को बढ़ावा देंगे।"
ब्रिटिश प्रधानमंत्री केअर स्टार्मर ने भी इसे ऐतिहासिक बताया और कहा कि यह दोनों देशों के कामकाजी लोगों और व्यवसायों को लाभ पहुंचाएगा। दोनों देशों ने दोहरे अंशदान समझौते पर भी बातचीत पूरी कर ली है, जिससे ब्रिटेन में अस्थायी रूप से काम करने वाले भारतीय पेशेवर सामाजिक सुरक्षा कोष में दोहरी कटौती से बच सकेंगे।
वाणिज्य मंत्रालय के अनुसार, "दोहरे अंशदान समझौते के तहत ब्रिटेन में अस्थायी रूप से रहने वाले भारतीय श्रमिकों और उनके नियोक्ताओं को तीन साल तक सामाजिक सुरक्षा अंशदान से छूट मिलेगी, जिससे सेवा प्रदाताओं को महत्वपूर्ण वित्तीय लाभ होगा।"
हालांकि, भारत और ब्रिटेन के बीच द्विपक्षीय निवेश संधि (BIT) पर बातचीत अभी भी जारी है। शुरू में योजना थी कि तीनों समझौतों को एक साथ पूरा किया जाए। मंत्रालय ने बताया कि ब्रिटेन के साथ एफटीए एक आधुनिक, व्यापक और ऐतिहासिक समझौता है, जो व्यापार उदारीकरण और गहन आर्थिक एकीकरण को बढ़ावा देता है।
भारत को लगभग 99% उत्पाद श्रेणियों पर शुल्क हटने से लाभ होगा, जो लगभग 100% व्यापार मूल्य को कवर करता है। सेवाओं के क्षेत्र में भारत को सूचना प्रौद्योगिकी, वित्त, पेशेवर और शैक्षणिक सेवाओं में लाभ मिलेगा।
मंत्रालय ने कहा, "ब्रिटेन में प्रतिभाशाली और कुशल भारतीय युवाओं के लिए अपार अवसर खुलेंगे, क्योंकि यह डिजिटल सेवाओं के लिए एक प्रमुख वैश्विक केंद्र है, जहां मजबूत वित्तीय और डिजिटल अवसंरचना मौजूद है।"
भारत ने वास्तुकला, इंजीनियरिंग, कंप्यूटर और दूरसंचार सेवाओं जैसी डिजिटल रूप से वितरित सेवाओं में महत्वपूर्ण प्रतिबद्धताएं भी प्राप्त की हैं। इसके अतिरिक्त, भारत ने यह सुनिश्चित किया है कि वस्तुओं और सेवाओं के निर्बाध प्रवाह को सुनिश्चित करने के लिए गैर-शुल्क बाधाओं को भी उचित रूप से संबोधित किया जाए।
अब यह समझौता कानूनी औपचारिकताओं से गुजरेगा और ब्रिटिश संसद की मंजूरी के बाद लागू होगा, जिसमें लगभग एक वर्ष का समय लग सकता है।
यह वार्ता जनवरी 2022 में शुरू हुई थी और कुल 14 दौर की बातचीत हुई। एफटीए के तहत अधिकतम उत्पादों पर शुल्क समाप्त या काफी कम कर दिया जाता है, जिससे सेवाओं और निवेश को भी बढ़ावा मिलता है। भारत-ब्रिटेन के बीच द्विपक्षीय व्यापार वित्त वर्ष 2023-24 में 21.34 अरब डॉलर और 2024-25 के पहले 10 महीनों में 21.33 अरब डॉलर रहा।
सुरक्षा संबंधी जानकारी
- सरजल कैंप अंतरराष्ट्रीय सीमा से 8 किलोमीटर अंदर स्थित जैश का कैंप है।
- महमूना कैंप अंतरराष्ट्रीय सीमा से 15 किलोमीटर अंदर है।