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यकीनन विश्व बाजार में भारतीय ब्रांडेड कपड़ों व डिजाइन की माँग और खपत ने टेक्सटाइल सेक्टर में कॅरियर को जो ऊँचाई प्रदान की है वह शायद पहले कभी देखने को नहीं मिली है। फैशन जगत के विस्तार ने तो टेक्सटाइल के क्षेत्र में क्रांति ही ला दी है और इस क्रांति से युवाओं के लिए कॅरियर का एक और संभावनाओं से भरपूर मार्ग प्रशस्त हुआ है। खासतौर से टेक्सटाइल डिजाइनिंग एवं इंजीनियरिंग के सुनहरे भविष्य के मद्देनजर अगर इसे दुनिया की एक बड़ी उभरती इंडस्ट्री कहा जाए तो अतिशयोक्ति नहीं होगी।
मेगा टेक्सटाइल पार्क से बढ़ेंगे रोजगार अवसर
केन्द्रीय कपड़ा मंत्रालय ने सात मेगा इंटीग्रेटेड टेक्सटाइल रीजन एंड अपैरल (पीएम मित्र) पार्क स्थापित करने के लिए 4,445 करोड़ रुपये की पीएम मित्र पार्क योजना शुरू की है। यह योजना प्रधानमंत्री के पांच-एफ विजन- फार्म से फाइबर, फाइबर से फैक्ट्री, फैक्टरी से फैशन और फैशन से फॉरेन तक से प्रेरित है। यह एक ‘आत्म-निर्भर भारत’ के निर्माण की दृष्टि को पूरा करने और भारत को वैश्विक वस्त्र मानचित्र पर मजबूती से स्थापित करने की आकांक्षा रखता है। सरकार की इस पहल से इन टेक्सटाइल पार्कों में करीब एक लाख करोड़ रुपए का निवेश आने का अनुमान है। वहीं, एक हजार एकड़ में बनने वाले इस पार्क की खासियत यह है कि यहां टेक्सटाइल सेक्टर की पूरी वैल्यू चेन को ध्यान में रखकर इंटीग्रेटेड यूनिट लगेंगे, जहां प्लग ऐंड प्ले सुविधा के साथ प्रशिक्षण और शोध की सुविधाएं भी होंगी। आने वाले दिनों में इससे टेक्सटाइल इंडस्ट्री में प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से 20 लाख से अधिक नौकरियां सृजित होंगी। वैसे भी, देश में कृषि के बाद कपड़ा उद्योग ही वह सेक्टर है, जहां सबसे अधिक संख्या में लोगों को रोजगार मिला हुआ है। देश का यह सेक्टर कपड़ा और परिधान के मामले में दुनिया के सबसे बड़े उत्पादकों में से एक है। माना जा रहा है कि 2025 तक टेक्सटाइल इंडस्ट्री की विकास दर 12 प्रतिशत तक रह सकती है।
मध्यप्रदेश में पीएम मित्र-मेगा टेक्सटाइल पार्क से बढ़ेंगे रोजगार
मध्यप्रदेश के धार जिले में “पीएम मित्र” मेगा टेक्सटाइल पार्क बनेगा। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी का मध्यप्रदेश के धार जिले में “पीएम मित्र” मेगा एकीकृत टेक्सटाइल पार्क स्थापित करने के लिए अभिनंदन किया है।
गौरतलब है कि मध्यप्रदेश में कपड़ा और परिधान क्षेत्र के लिए पारिस्थितिकी-तंत्र अच्छी तरह से विकसित है। राज्य में कच्चे माल (जैसे-कपास, रेशम और मानव निर्मित फाइबर) की उपलब्धता और एक प्रगतिशील कपड़ा नीति ढाँचा है। राज्य ने देश भर से इस क्षेत्र में निवेशकों को आकर्षित किया है। मध्यप्रदेश कपास का उत्पादन करता है, इसमें कपास को सूत में बदलने के लिए ओटाई और कताई इकाइयाँ भी हैं, जिन्हें कपड़े में परिवर्तित किया जाता है। वर्तमान में राज्य में परिधान इकाइयाँ भी हैं। राज्य की इकाइयाँ कपास, सूत और वस्त्र निर्यात करती हैं। कपड़ा क्षेत्र के लिए केन्द्र सरकार की प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (पीएलआई) योजना में मध्यप्रदेश को सर्वाधिक 3,513 करोड़ रुपये का निवेश प्राप्त हुआ है। पीएम मित्र पार्क योजना ‘मेक इन इंडिया’ और ‘मेक फॉर द वर्ल्ड’ के दृष्टिकोण को पूरा करने का एक उत्कृष्ट अवसर प्रदान करेगी।
टेक्सटाइल सेक्टर में करियरके मौके
टेक्सटाइल के क्षेत्र में अपनी कुशलता के आधार पर विभिन्न रूपों में करियर बना सकते हैं। यदि आपकी डिजाइनिंग में रुचि है, तो इससे संबंधित कोर्स करके डिजाइनर, स्टाइलिस्ट, टेक्नोलाजिस्ट, कलरिस्ट या फिर सेल्स और मार्केटिंग जैसे किसी भी क्षेत्र में अपने लिए जाब तलाश सकते हैं। सरकार के अधीन विभिन्न संस्थाओं, जैसे कि सिल्क, हैंडलूम, खादी, जूट और क्राफ्ट से जुड़े प्रतिष्ठानों/संगठनों में भी कई तरह की नौकरियों के मौके हैं। टेक्सटाइल कंपनियों के अलावा होजरी व होम फर्निशिंग एक्सपोर्ट फर्म्स में भी इसके प्रोफेशनल्स को नौकरियों में प्राथमिकता मिलती हैदी जाती है। वैसे देखा जाए, तो सबसे अधिक मौके टेक्सटाइल डिजाइनर के लिए हैं। एक डिजाइनर के रूप में किसी एक्सपोर्ट हाउस या रिटेल हाउस में मार्केटिंग और मर्चेंडाइजिंग की जाब पाने के अलावा अपना खुद का फैशन हाउस/आउटलेट भी खोल सकते हैं। अमेजन जैसी ई-कामर्स कंपनियों में भी ऐसे क्रिएटिव लोगों के लिए नौकरी के अच्छे मौके हैं। टेक्सटाइल में उच्च शिक्षा हासिल करने वाले युवा निफ्ट जैसे फैशन डिजाइनिंग से जुड़े कालेज/संस्थानों में अध्यापन भी कर सकते हैं। ऑनलाइन बिजनेस के इस दौर में इंडस्ट्री का अनुभव हासिल करके इस क्षेत्र में अपना स्टार्टअप/बूटीक या फैशन स्टोर भी शुरू कर सकते हैं।
टेक्सटाइल सेक्टर में करियर की स्किल्स
टेक्सटाइल परिधान/फैशन से जुड़ा क्षेत्र है, इसलिए इस फील्ड में आने के लिए आपमें क्रिएटिविटी का होना बहुत जरूरी है। जितना ज्यादा आप इनोवेटिव और क्रिएटिव सेंस वाले होंगे, उतनी जल्दी इस इंडस्ट्री में आगे बढ़ने में मदद मिलेगी। इसके अलावा, टेक्सटाइल मैटीरियल, फैब्रिक और टेक्सचर की भी समझ होनी चाहिए। नई-नई तकनीक और मार्केट ट्रेंड की जानकारी के लिए नियमित रूप से अपडेट रहना होगा। इस फील्ड में जाने के लिए आपके अंदर कई स्किल का होना जरूरी है जैसे कम्युनिकेशन स्किल्स, कम्प्यूटर स्किल्स, एनालिटिकल स्किल्स और प्रॉब्लम सॉल्विंग स्किल्स होनी जरूरी हैं। इसके अलावा उनमें चीजों की बारीकियों पर ध्यान देने की क्षमता, लॉजिकल थिंकिंग और क्रिएटिविटी होनी भी जरूरी है।
टेक्सटाइल सेक्टर में करियर की शैक्षिक योग्यताएं व संस्थान
टेक्सटाइल डिजाइनिंग में डिग्री से लेकर डिप्लोमा और पीजी डिप्लोमा के रूप में कई कोर्स संचालित हो रहे हैं। अगर डिग्री कोर्स करना चाहते हैं, तो इसके लिए न्यूनतम योग्यता 12वीं है, जबकि पीजी डिप्लोमा कोर्स ग्रेजुएशन के बाद किया जा सकता है। सबसे अच्छी बात है कि ये कोर्स किसी भी स्ट्रीम के स्टूडेंट कर सकते हैं। लेकिन अगर टेक्सटाइल इंजीनियरिंग/टेक्नोलाजी में बीई या बीटेक करना चाहते हैं, तो फिर जेईई क्लियर करके ही इस कोर्स में प्रवेश पा सकते हैं।
आप अपनी रुचि, योग्यता व क्षमता के अनुरूप टेक्सटाइल सेक्टर के किसी उपयुक्त कोर्स और गुणवत्तापूर्ण शैक्षणिक संस्थान का चयन करके इस सेक्टर में अच्छे करियर की डगर पर आगे बढ़ सकते हैं।
डॉ. जयंतीलाल भंडारी ( विख्यात करियर काउंसलर) 111, गुमास्ता नगर, इंदौर-9 (फोन- 0731 2482060, 2480090)